भोपाल । चीता प्रोजेक्ट के तहत चार माह पहले नामीबिया से लाए गए 8 चीतों के बाद अब फरवरी माह के अंतिम सप्ताह में साउथ अफ्रीका से भी 12 चीते लाए जा रहे हैं। इसके लिए बीती 26 जनवरी को भारत और साउथ अफ्रीका के बीच समझौता भी हो गया है। यही वजह है कि देश की धरती पर बने चीतों के इकलौते घर श्योपुर के कूनो नेशनल पार्क में दक्षिण अफ्रीका से आने वाले 12 चीतों के लिए पार्क प्रबंधन ने सभी आवश्यक तैयारियां पूरी कर ली हैं।पिछले साल सितंबर माह में नामीबिया से लाए गए 8 चीतों (5 मादा  और 3 नर) का नया बसेरा बना श्योपुर का कूनो नेशनल पार्क एक बार फिर साउथ अफ्रीका से आने वाले 12 चीतों के स्वागत को तैयार हो गया है। यहां 12 नए मेहमान चीतों को बसाने की तैयारियां यूं तो बीते कई महीनों से चल रही थीं, लेकिन दक्षिण अफ्रीका में एमओयू की फाइल समझौता हस्ताक्षर के लिए वहां के राष्ट्रपति के पास लंबित थी। अब 26 जनवरी को एमओयू साइन होने के बाद कूनो में अफ्रीकन चीतों का दूसरा जत्था आने का रास्ता साफ होने के बाद तो कूनो प्रबंधन ने 12 चीतों को नये घर में रखने की सभी जरूरी तैयारियां पूरी कर ली हैं। बस अब इंतजार है, चीते लाए जाने की तारीख का।

12 नए चीतों को क्वारंटीन करने के लिए तैयार बाड़े
कूनो नेशनल पार्क में चीतों के आवास और भोजन पानी के प्रबंध किए गए हैं। वहीं, चीतों को क्वॉरंटीन करने के लिए 10 बाड़े भी तैयार कर लिए गए हैं। इन्हीं में आने वाले सभी 12 चीतों को शुरुआत में रखा जाएगा। खास बात यह है कि इनके लिए 8 नए बाड़े बनाए गए हैं, जबकि चार पुराने बाड़ों को सुधारकर दो नए बाड़े बनाए गए हैं। चीतों के लिए बने 5 वर्ग किमी क्षेत्र के बाड़े के चारों ओर करीब आठ फीट ऊंची चारदीवारी और ऊपरी हिस्से में फेंसिंग की गई है।तीन स्तर की सुरक्षा व्यवस्था भी की गई है। बता दें कि कूनो  नेशनल पार्क 750 वर्ग किमी में फैला है जो कि 6800 वर्ग किमी क्षेत्र में फैले खुले वन क्षेत्र का हिस्सा है।